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गुरुग्राम ट्रेफिक पुलिस ने बकाया ई-चालान वाले वाहनों के खिलाफ अभियान चलाया।

 

सत्य ख़बर, गुरुग्राम,सतीश भारद्वाज :

Haryana News: हरियाणा के वाहन चालक ध्यान दें! हाई-वे पर वाहन खड़ा करने पर होगा चालान

गुरुग्राम यातायात पुलिस ने बकाया ई-चालान वाले वाहनों की धर पकड़ शुरू कर दी है। अगर आपके ऊपर भी किसी तरह का ई-चालान बकाया हैं, तो जल्द ही अपने वाहन का भूगतान कर दे वर्ना आपको परेशानी का सामना करना पड़ सकता है। यातायात नियमों को लागू करने और जुर्माना राशि वसूली सुनिश्चित करने के लिए गुरुग्राम पुलिस आपके वाहन को जब्त कर सकती है।
इसके लिए पुलिस विभाग रोजाना करीब 4000 चालान कर रही है। जिनमें से करीब 2500 सीसीटीवी कैमरों द्वारा और 1,500 चालान अधिकारियों द्वारा मैन्युअल रूप से काटे जा रहे हैं। पुलिस का कहना है कि ज्यादातर ई-चालान का भुगतान नहीं किया जाता है, इसलिए यह अभियान चलाया जा रहा है।
मीडिया रिपोर्ट के अनुसार गुरुग्राम ट्रैफिक पुलिस ने पिछले 10 दिनों में यातायात नियमों का उल्लंघन करने तथा जुर्माना राशि का भुगतान न करने के कारण करीब 19 वाहनों को जब्त किया है। जिनमें ऑटो रिक्शा और मोटरसाइकिलें शामिल हैं। गुरुग्राम पुलिस के अनुसार जब्त किए गए प्रत्येक वाहन पर कम से कम 1 लाख रुपये का जुर्माना राशि बकाया था। इन वाहनों पर 100 से ज्यादा ई-चालान लंबित थे। जिसका मतलब है कि ये वाहन चालक नियमित रूप से यातायात नियमों का उल्लंघन करते आ रहे थे।
जब्त किए गए वाहन, जिनमें 13 ऑटो रिक्शा और 6 मोटरसाइकिलें शामिल हैं, उन्हें फिलहाल सेक्टर 29 और राजीव चौक के पास निर्धारित स्थानों पर खड़ा किया गया है।
एक ऑटो रिक्शा पर 289 बकाया चालान थे, जबकि अन्य पर क्रमशः 269 और 195 चालान थे। मोटरसाइकिलों में से एक पर भी 195 लंबित चालान थे। सीसीटीवी कैमरे यातायात उल्लंघन को रिकॉर्ड करते हैं। फिर वेरिफिकेशन और ई-चालान जारी करने के लिए अलर्ट को जीएमडीए के इंटीग्रेटेड कमांड एंड कंट्रोल सेंटर (आईसीसीसी) को भेजा जाता है।
शहर में ज्यादातर यातायात उल्लंघनों में गलत साइड ड्राइविंग, अनधिकृत पार्किंग, सिग्नल जंपिंग और बिना हेलमेट के गाड़ी चलाना शामिल है। जिनके लिए उल्लंघन की गंभीरता के आधार पर 500 रुपये से 5,000 रुपये तक का जुर्माना लगाया जाता है। ऑनलाइन चालान वाहन के पंजीकरण नंबर से जुड़े होते हैं। भुगतान नहीं किए जाने पर जुर्माना राशि इक्टठा होती सकती हैं। जिससे वाहन मालिकों पर आर्थिक बोझ बढ़ सकता है।
हालांकि जुर्माना राशि वसूली के लिए अभी कोई ऑटोमैटिक सिस्टम नहीं है। लेकिन बकाया राशि वाहन बेचने की क्षमता को बाधित करती है। क्योंकि वाहन को बेचते समय क्षेत्रीय परिवहन प्राधिकरण (आरटीओ) से अनापत्ति प्रमाणपत्र (एनओसी) लेने की जरूरत होती है।

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